मंगलवार, 8 मार्च 2022

एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी 122 मत हासिल करके चुने गए शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के 44वें अध्यक्ष



— करनैल सिंह पंजौली बने 112 मत हासिल करके एसजीपीसी के महासचिव
, अमृतसर
शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के अध्यक्ष समेत कार्यकारिणी कमेटी के चुनावों के लिए आयोजित जरनल इजलास में तू तू मैं मैं के बीच एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी को मतदान के मध्यम से एसजीपीसी का 44वां अध्यक्ष चुन लिया गया। इसी तरह करनैल सिंह पंजोली को भी मतदान के माध्यम से महासचिव चुना गया। एसजीपीसी की कार्यकारिणी व अन्य पदों पर हाउस की सर्वसमिति से चुनाव किया गया।
एडवोेकेट हरजिंदर सिंह धामी को मतदान के दौरान अध्यक्ष पद के लिए 122 मत मिले जबकि उनके विरोधी मिट्ठू सिंह काहने को मात्र 19 मत हासिल हुए। एक मत इस दौरान रद्द हुआ। महासचिव पद के लिए करनैल सिंह पंजौली को 112 मत मिले जबकि विरोधी गुरप्रीत सिंह रंधावा को 21 मत हासिल हुए। इस दौरान भी एक मत रद्द हो गया। कार्यकारिणी कमेटी के 11 सदस्यों के चुनाव के दौरान भी हाउस में श्री गुरू ग्रंथ साहिब की हजूरी में भारी तूं तूं मैं मैं हुई। विपक्ष अपनी दो सदस्यों को कार्यकारिणी में लेना चाहता था। परंतु सत्ताधारी ग्रुप विरोधियों के सदस्यों की संख्या के अनुसार एक पोस्ट ही कार्यकारिणी में देना चाहता था। इस को लेकर विपक्ष ने कार्यकारिणी के सदस्यों के लिए भी मतदान की मांग की। परंतु सत्ताधारी पक्ष में उनकी बात अनसुनी करते हुए कार्यकारिणी के 11 सदस्यों का एलान करते हुए विपक्ष के एक सदस्य को कार्यकारिणी में शामिल कर लिया।
हरियाणा से एसजीपीसी के सदस्यस रघुजीत सिहं विर्क को शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी का वरिष्ठ उपाध्यक्ष चुन लिया गया। इसी तरह प्रिंसिपल सुरिंदर सिंह एसजीपीसी का जूनियर उपाध्यक्ष चुना सर्वसमिति से चुना गया। एसजीपीसी के मतदान के माध्यम से चुने गए अध्यक्ष एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी ने कार्यकारिणी का एलान करते हुए सुरजीत सिंह कंग, सरवन सिंह कुलार, सुरजीत सिंह गढ़ी , जरनैल सिंह डोगरांवाल, बलविंदर सिंह वेंईपुंई, हरजाप सिंह सुलतानविंड ,गुरिंदर सिंह भाटिया, अमरजीत सिंह बंडाला,गुरप्रीत कौर , जोध सिंह समारा और विपक्ष के एक सदस्य गुरप्रीत सिंह रंधावा को कार्यकारिणी कमेटी के सदस्य के रूप में शामिल किया गया।
विपक्ष की ओर से गुरप्रीत सिंह रंधावा और मिट्ठू सिंह काहने का नाम पेश किया गया। विपक्ष दोनों को ही कार्यकारिणी में शामिल करना चाहता था। परंतु सत्ताधारी पक्ष सिर्फ एक व्यक्ति को ही कार्यकारिणी में शामिल करने के लिए तैयार था। जिस को लेकर विपक्ष ने सभी सदस्य मतदान के माध्यम से चुनाने के लिए हाउस में शोर मचाना शुरू कर दिया। जिस को अनसुना करते हुए एसजीपीसी के निर्वाचित अध्यक्ष हरजिंदर सिंह धामी ने कार्यकारणी कमेटी का एलान करते हुए विपक्ष के एक सदस्य गुरप्रीत सिंह को कार्यकारिणी में शामिल कर लिया।
बाद दोपहर शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के मुख्य कार्यालय तेजा सिंह समुद्री हाल में अरदास के बाद शुरू किए गए चुनाव इजलास की अध्यक्ष बीबी जगीर कौर ने की। इस दौरान श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह, तख्त केसगढ़ साहिब के जत्थेदार ज्ञानी रघुबीर सिंह, तख्त पटना साहिब के जत्थेदार ज्ञानी रणजीत सिंह गौहर, श्री हरिमंदिर साहिब के मुख्य ग्रंथी ज्ञानी जगतार सिंह भी मौजूद थे।
 इजलास के शुरूआत से पहले अरदास ज्ञानी रघुबीर सिंह की ओर से की गई। जबकि हुकमनामा सिंह साहिब ज्ञानी जगतार सिंह की ओर से लिया गया। एसजीपीसी नए चुने गए पदाधिकारियों को सिंह साहिबों की ओर से सिरोपे देकर सम्मानित किया गया। इस के बाद सभी चुने हुए प्रतिनिधि श्री हरिमंदिर साहिब व श्री अकाल तख्त साहिब पर माथा टेकने के लिए गए। एसजीपीसी की पूर्व अध्यक्ष बीबी जगीर कौर ने भी नए चुने गए प्रधान हरिजंदर सिहं धामी व अन्य पदाधिकारियों को बधाई दी। इस दौरान हाउस में हरजिंदर सिंह धामी ने अपने एसजीपीसी के मुख्य सचिव के पद से त्याग पत्र दिया और एसजीपीसी के अध्यक्ष के पद को स्वीकार किया।
जब एसजीपीसी के हाउस की कार्रवाई की अध्यक्ष बीबी जगीर कौर ने की तो उस वक्त एसजीपीसी के आउस की कार्रवाई को हरजिंदर सिंह धामी ने शुरू करवाया। जब अध्यक्ष पद के लिए सुरजीत सिंह भिट्टेवड्ड के हरजिंदर सिंह धामी का नाम पेश किया तो विपक्ष ने मिट्ठू सिंह काहने का नाम पेश करके मतदान की मांग कर दी। इसी तरह जब महासचिव पद के लिए दलबीर सिंह की ओर से करनैल सिंह पंजौली का नाम पेश किया गया तो विपक्ष में तब भी मुकाबले में गुरप्रीत सिंह का नाम पेश कर दिया। जिस के चलते अध्यक्ष और महासचिव पद के लिए मतदान से उम्मीदवारों का फैसला किया गया।एसजीपीसी के हाउस में 170 चुने उम्मीदवार है। जिन में 15 नोमिनेटडिट सदस्य है। दो मैंबर अपना त्यागपत्र दे चुके है। जबकि 23 की मौत हो चुकी है। हाउस में सिर्फ 142 सदस्यों ने ही वोट डाले। बहु सारे सदस्य हाउस में हिस्सा लेने के लिए ही नही पहुंचे थे। पदाधिकारियों के चुनाव के बाद एसजीपीसी के अध्यक्ष ने 10 प्रस्ताव पेश किए जिनको सर्व समिति से पास कर दिया गया।
— पंकज शर्मा

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